सीएए,एनआरसी के प्रदर्शन में लगी थी गोली, क्या सच्चाई आएगी सामने?


 फ़ोटो - पीड़ित शान मोहम्मद


कानपुर । गरीब घर से सम्बन्ध रखने वाला बाबूपुरवा निवासी शान मोहम्मद का पीछा मुसीबत कर रही है । जो उस के साथ-साथ चल रही है । आप को बताते चले कि शहर में बीते  20 दिसम्बर को बाबूपुरवा मे जब सीएए व एनआरसी के विरोध मे प्रदर्शन हो रहा था तभी हिंसा हुई थी । उसी हिंसा मे 20 साल के शान मोहम्मद को बाबूपुरवा ईदगाह से वापस घर जाते वक्त गोली लग गई थी और और लगभग 40 दिन शहर के ही सरकारी अस्पताल  हैलट मे इलाज हुआ और उसे छुट्टी दे दी गई लेकिन अब उसकी जिंदगी मे एक नया मोड़ आ गया है । जिस गोली ने उसे घायल किया था । वो अभी उस के जिस्म में मौजूद है दरअसल जब अस्पताल से छुट्टी मिली तो वो घर आया तो जहां उसे गोली लगी वहां दर्द शुरू हुआ डाक्टर ने उसे सी टी स्कैन व एक्सरा कराने की सलाह दी । जब जांच कराई गई तो उसके होश उड़ गये दरअसल वो गोली अभी भी शान मोहम्मद के बांय कंधे में फंसी हुई है जो अभी तक नहीं निकल सकी है इस मामले पर जब  इलाज करने वाले डाक्टर से पीडित ने बात की तो उनका कहना है सब ठीक है । लेकिन ये गोली हिंसा के पूरे मामले मे नया मोड लेकर आयी है पीड़ित के वकील व बाबूपुरवा हिंसा के कई मामलों मे याचिका दायर करने वाले अधिवक्ता मोहम्मद नासिर ने इस मामले पर एक नई याचिका कानपुर के सी एम एम कोर्ट मे  दायर की है जिसमे पीड़ित के हाथ खराब होने की बात कही गई है । और उसे मुआवज़े की बात के साथ साथ गोली की जांच कर उससे यह पहचान कराने और साफ कराने की भी बात की गई है कि वो गोली किस असलाह से चली है । गोली की जांच पर बहुत कुछ निर्भर है क्योकि बीते 28 फरवरी को कोर्ट मे इस मामले पर जब सुनवाई होगी और अगर पुलिस के खिलाफ जांच के आदेश हुये तो ये गोली शायद सच को सामने लाने का काम भी कर सकती है कि आखिर ये गोली किसके द्वारा चलाई गई है ।


फ़ोटो - अधिवक्ता मोहम्मद नासिर